छत्तीसगढ़ बनेगा नया टेक्नोलॉजी हब: सरकार और नैसकॉम के बीच ऐतिहासिक समझौता, आईटी और स्टार्टअप सेक्टर को मिलेगा नया आयाम
नई दिल्ली/रायपुर: छत्तीसगढ़ सरकार आईटी और टेक्नोलॉजी सेक्टर में नई ऊंचाइयों को छूने की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रही है। हाल ही में राज्य सरकार और नैसकॉम के बीच हुए महत्वपूर्ण समझौते (एमओयू) के तहत छत्तीसगढ़ में कौशल विकास और टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में निवेश को बढ़ावा देने की योजना बनाई गई है। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने इन्वेस्टर्स कनेक्ट मीट के दौरान नैसकॉम के उपाध्यक्ष श्रीकांत श्रीनिवासन सहित अन्य प्रतिनिधियों से मुलाकात की और राज्य में आईटी और स्टार्टअप सेक्टर के विकास को लेकर चर्चा की। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि छत्तीसगढ़, विशेष रूप से रायपुर, देश के उन चुनिंदा शहरों में शामिल है जहां आईआईटी, एनआईटी, एम्स और ट्रिपल आईटी जैसे प्रतिष्ठित शैक्षणिक संस्थान मौजूद हैं। ये संस्थान उद्योगों की जरूरत के अनुरूप प्रशिक्षित युवा तैयार कर रहे हैं, जिससे प्रदेश में तकनीकी क्षेत्र में तेजी से प्रगति की संभावनाएं बढ़ रही हैं।
राज्य सरकार की योजना के तहत नया रायपुर को देश के प्रमुख आईटी हब के रूप में विकसित किया जा रहा है। बेंगलुरु और हैदराबाद की तरह यहां भी बड़ी टेक कंपनियों को आकर्षित करने के प्रयास किए जा रहे हैं। कई आईटी कंपनियां पहले ही नया रायपुर में अपना परिचालन शुरू कर चुकी हैं, और सरकार की नई औद्योगिक नीति के तहत आईटी व स्टार्टअप सेक्टर को विशेष प्रोत्साहन देने की घोषणा की गई है। इससे राज्य में रोजगार के अवसर बढ़ेंगे और स्थानीय युवाओं को हाई-टेक इंडस्ट्री में करियर बनाने का सुनहरा अवसर मिलेगा। स्किलिंग प्रोग्राम के जरिए कॉलेज विद्यार्थियों को उद्योगों की आवश्यकताओं के अनुरूप तैयार किया जाएगा, ताकि वे आसानी से विभिन्न क्षेत्रों में रोजगार प्राप्त कर सकें।
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने जानकारी दी कि राज्य को अब तक 4 लाख 40 हजार करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव मिल चुके हैं, जो छत्तीसगढ़ की औद्योगिक नीति की सफलता को दर्शाते हैं। इन्वेस्टर्स मीट के दौरान दिल्ली, मुंबई और रायपुर में मिले सकारात्मक प्रतिक्रियाओं पर भी चर्चा की गई, जिससे यह स्पष्ट होता है कि राज्य निवेशकों के लिए एक आकर्षक गंतव्य बनता जा रहा है। सरकार की इस पहल से न केवल प्रदेश में आईटी और टेक्नोलॉजी सेक्टर का तेजी से विस्तार होगा, बल्कि यह छत्तीसगढ़ को देश के अग्रणी टेक्नोलॉजी हब के रूप में स्थापित करने में भी मदद करेगा।