विधानसभा में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय का सख्त संदेश भ्रष्ट अधिकारियों पर होगी कड़ी कार्रवाई
रायपुर: छत्तीसगढ़ विधानसभा का बजट सत्र जारी है, जिसमें विभिन्न मुद्दों पर गहन चर्चा की जा रही है। सत्र के दूसरे दिन की कार्यवाही प्रारंभ होते ही सदन में पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह के निधन पर शोक व्यक्त किया गया और उन्हें श्रद्धांजलि दी गई। इसके बाद प्रश्नकाल के दौरान राज्य प्रशासनिक सेवा के अधिकारियों के खिलाफ ACB-EOW और विभागीय जांचों को लेकर चर्चा हुई।
बिल्हा से भाजपा विधायक धरमलाल कौशिक ने सरकार से भ्रष्टाचार के मामलों पर तीखे सवाल किए। उन्होंने पूछा कि जब विधानसभा में प्रश्न लगाया जाता है, तब जाकर भ्रष्ट अधिकारियों के खिलाफ मामले दर्ज किए जाते हैं। उन्होंने यह भी जानना चाहा कि इन मामलों में कार्रवाई में इतना विलंब क्यों हो रहा है और सरकार दोषी अधिकारियों पर कब तक सख्त कदम उठाएगी। इस पर मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने स्पष्ट किया कि राज्य सरकार ने सुशासन एवं अभिसरण विभाग का गठन किया है, जिसका उद्देश्य प्रशासन को अधिक पारदर्शी बनाना और भ्रष्टाचार पर सख्ती से रोक लगाना है। मुख्यमंत्री ने भरोसा दिलाया कि दोषी अधिकारियों को किसी भी हाल में बख्शा नहीं जाएगा और उनके खिलाफ नियमानुसार सख्त कार्रवाई की जाएगी।
इसके अलावा भाजपा विधायक अजय चंद्राकर ने छत्तीसगढ़ वेटलैंड प्राधिकरण से जुड़े महत्वपूर्ण मुद्दे उठाए। उन्होंने पूछा कि यह प्राधिकरण कब गठित हुआ, इसमें कौन-कौन सदस्य शामिल हैं, इसके अंतर्गत कितनी भूमि आती है और इसके संरक्षण के लिए सरकार की क्या योजनाएं हैं। उन्होंने वेटलैंड क्षेत्रों के प्रभावी संरक्षण और प्रबंधन को लेकर सरकार की प्रतिबद्धता पर भी सवाल उठाए।
बजट सत्र में विभिन्न विषयों पर गहन चर्चा के साथ-साथ विपक्ष और सत्ता पक्ष के बीच नोकझोंक भी देखने को मिली। सरकार की ओर से स्पष्ट किया गया कि प्रशासनिक सुधार और भ्रष्टाचार उन्मूलन की दिशा में लगातार कदम उठाए जा रहे हैं, और राज्य के प्राकृतिक संसाधनों की रक्षा के लिए प्रभावी योजनाएं बनाई जा रही हैं। आगामी दिनों में इस सत्र के दौरान और भी महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा होने की संभावना है, जिससे प्रदेश की नीतियों और विकास संबंधी योजनाओं की स्पष्ट दिशा तय होगी।