“ग्रामीणों के विश्वास का दुरुपयोग: भिंड में करोड़ों की ठगी का चौंकाने वाला मामला”

मध्य प्रदेश :   भिंड जिले में बिजनेस के नाम पर करोड़ों की ठगी का एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जिसमें सैकड़ों लोगों को जाल में फंसाया गया है। पीड़ितों की शिकायत के बाद पुलिस ने 5 आरोपियों को गिरफ्तार किया है, जबकि जांच अभी भी जारी है। यह घटना मछंड चौकी और रौन थाना क्षेत्र में हुई, जहां सौरभ राजावत, रवि दीक्षित, महेंद्र राठौर और अन्य सहयोगियों ने ग्रामीणों से पैसे की मांग की थी।

पीड़ित गोलू गोस्वामी के अनुसार, आरोपियों ने गांव में एक अच्छी छवि बनाई थी और लोगों को यह भरोसा दिलाया था कि उनके कई बिजनेस चल रहे हैं। उन्होंने ग्रामीणों को 5 से 10 प्रतिशत ब्याज का लालच देकर आकर्षित किया। इस लालच में आकर सैकड़ों ग्रामीणों ने लगभग 5 से 6 करोड़ रुपये जमा किए। कई लोगों ने अपने घर, जमीन और सोने-चांदी की चीजें गिरवी रखकर पैसे जुटाए थे।

हालांकि, पिछले दो महीनों से सौरभ राजावत और उसके साथी इलाके में गायब थे, और उन्होंने ग्रामीणों का समय पर ब्याज भी नहीं दिया। जब ग्रामीणों ने कई दिनों तक उन्हें ढूंढने की कोशिश की, तो उनका कोई अता-पता नहीं चला। इसके बाद, लोगों ने थाने में जाकर अपनी शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने मामले की गंभीरता को देखते हुए त्वरित कार्रवाई की और आरोपियों को गिरफ्तार किया।

गिरफ्तारी के बाद, पुलिस आरोपियों को पूछताछ के लिए जिला मुख्यालय ले गई। इस बीच, प्रभावित ग्रामीण ग्वालियर में ज्योतिरादित्य सिंधिया के पास पहुंचे और अपनी मांगें रखीं। ग्रामीणों ने स्पष्ट किया कि वे केवल अपनी जमा राशि वापस चाहते हैं, न कि ब्याज। उन्होंने अधिकारियों से आग्रह किया है कि उनकी संपत्तियों को ठगों से वापस लाने के लिए उचित कार्रवाई की जाए।

इस मामले ने भिंड जिले के ग्रामीणों के बीच चिंता का माहौल पैदा कर दिया है। ठगी की इस घटना ने यह संकेत दिया है कि ऐसे जालसाजों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की आवश्यकता है, ताकि भविष्य में किसी और को इस तरह के धोखाधड़ी का शिकार न होना पड़े। पुलिस और प्रशासन को चाहिए कि वे ऐसी घटनाओं की रोकथाम के लिए आवश्यक कदम उठाएं और लोगों को जागरूक करें।