“छत्तीसगढ़ पंचायत चुनाव में आरक्षण प्रक्रिया निरस्त, भाजपा नेता अजय चंद्राकर की प्रतिक्रिया”

रायपुर :  छत्तीसगढ़ राज्य में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव 2024-25 की आरक्षण प्रक्रिया को हाल ही में छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा निरस्त कर दिया गया है। पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के संयुक्त सचिव तारन प्रकाश सिन्हा द्वारा जारी किए गए आदेश के अनुसार, इस निर्णय को अपरिहार्य कारणों की वजह से लिया गया है। हालांकि, इस निर्णय ने राज्य के राजनीतिक हलकों में हंगामा मचाया है और अब इसे लेकर भाजपा के दिग्गज विधायक अजय चंद्राकर ने अपनी प्रतिक्रिया दी है।

अजय चंद्राकर, जो भाजपा के प्रमुख नेताओं में शामिल हैं, ने पंचायत चुनाव के वार्डों के आरक्षण पर रोक लगाए जाने के बाद कहा कि इस मामले में कोई न कोई विशेष कारण जरूर रहा होगा। उन्होंने यह भी कहा कि स्थानीय निकायों के चुनाव समय पर ही होने चाहिए, हालांकि चुनाव थोड़े समय के लिए आगे या पीछे हो सकते हैं, यह राजनीति और प्रशासनिक आवश्यकताओं के अनुसार तय किया जा सकता है।

इस फैसले को लेकर राज्य में चर्चा का माहौल है क्योंकि यह चुनाव में आरक्षण प्रक्रिया को लेकर एक नया मोड़ है। अब यह देखने वाली बात होगी कि इस निर्णय का आगामी पंचायत चुनाव पर क्या असर पड़ता है। राज्य में स्थानीय संस्थानों के चुनावों का महत्व खासतौर पर गांवों और छोटे नगरों के विकास के संदर्भ में बहुत बड़ा है, और ऐसे निर्णय स्थानीय प्रशासन, समाज के विभिन्न वर्गों और राजनीतिक दलों के बीच जटिल सवालों और चिंताओं को जन्म देते हैं।

इस आदेश से पार्टी राजनीति में भी उबाल देखने को मिल रहा है। भाजपा नेता अजय चंद्राकर के बयान से यह साफ है कि भाजपा इस निर्णय से असहमत नजर आती है, लेकिन उन्होंने चुनाव प्रक्रिया को थोड़े वक्त के लिए स्थगित करने को एक व्यावहारिक कदम के रूप में स्वीकारा है। सरकार द्वारा की गई इस नियुक्ति की स्थगन प्रक्रिया पर सभी दलों के नेताओं ने अपनी प्रतिक्रिया देनी शुरू कर दी है, जिससे इस मुद्दे पर और राजनीतिक विमर्श होना तय है।

अब यह देखना रहेगा कि छत्तीसगढ़ सरकार अपने फैसले पर पुनः विचार करती है या फिर समय के साथ ये चुनाव बिना किसी अन्य हंगामे के सम्पन्न हो पाएंगे।