आरंग में लोधी समाज का भव्य सम्मेलन: वीरांगना रानी अवंती बाई को श्रद्धांजलि, नए अध्यक्ष बने शैलेंद्र लोधी

आरंग:  छत्तीसगढ़ के आरंग में आयोजित दो दिवसीय श्री हरदेव लोधी समाज परिक्षेत्र सम्मेलन सामाजिक एकता, परंपरा और नेतृत्व के दृष्टिकोण से बेहद महत्वपूर्ण रहा। यह आयोजन वीरांगना रानी अवंती बाई लोधी के बलिदान दिवस के उपलक्ष्य में संपन्न हुआ, जिसमें समाज के वरिष्ठजन, गणमान्य अतिथि और युवा पीढ़ी की उल्लेखनीय भागीदारी रही। इस अवसर पर वीरांगना रानी अवंती बाई लोधी की प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी गई, साथ ही समाज के उत्थान के लिए 45 एकड़ भूमि दान करने वाली स्वर्गीय मनियारा बाई लोधी की प्रतिमा पर भी श्रद्धासुमन अर्पित किए गए। इस दौरान समाज के तात्कालिक अध्यक्ष गणपत राम लोधी ने अपने तीन वर्षीय कार्यकाल की वित्तीय रिपोर्ट प्रस्तुत की, जिसमें आय-व्यय का विस्तृत ब्यौरा दिया गया और समाज से जुड़े विवादों के समाधान पर चर्चा की गई।

कार्यक्रम के मुख्य आकर्षणों में खिलावन प्रसाद लोधी की पुस्तक “हमारी संस्कृति-हमारी विरासत और हमारे रीति-रिवाज” का विमोचन भी शामिल रहा, जिससे समाज की परंपराओं और रीति-रिवाजों को नई पीढ़ी तक पहुंचाने का मार्ग प्रशस्त होगा। सभा का संचालन कैलाश लोधी और सूरज लोधी द्वारा किया गया, जिसमें कई सामाजिक मुद्दों पर चर्चा हुई और समाज के आर्थिक एवं शैक्षिक विकास को लेकर विचार-विमर्श हुआ। इस भव्य आयोजन में श्याम नारंग (भाजपा रायपुर ग्रामीण अध्यक्ष), डॉ. संदीप जैन (नगर पालिका परिषद आरंग के नवनिर्वाचित अध्यक्ष), देवनाथ साहू (अध्यक्ष, आरंग मंडल भाजपा), पार्षद नरेंद्र लोधी, संतोष लोधी सहित कई गणमान्य अतिथियों की उपस्थिति ने इसे और गरिमामय बना दिया। इसके अतिरिक्त, ग्राम पंचायत कलई के सरपंच ओमप्रकाश लोधी, पाली के सरपंच भुवनेश्वर लोधी, ग्राम खमतराई के उपसरपंच ज्ञानचंद लोधी, लामी के उपसरपंच गुलाल लोधी समेत अन्य पंच-सरपंच भी इस सम्मेलन में उपस्थित रहे।

इस अवसर पर समाज के नए पदाधिकारियों का चयन भी किया गया, जिसमें शैलेंद्र लोधी को निर्विरोध रूप से समाज का अध्यक्ष चुना गया। उनके साथ टुकेश्वर लोधी को उपाध्यक्ष, संजय लोधी को सचिव, शांतिलाल लोधी को कोषाध्यक्ष और लक्ष्मीनारायण लोधी को समाज का संरक्षक नियुक्त किया गया। इसके अलावा, पत्रकारिता और मीडिया क्षेत्र में समाज की उपलब्धियों को उजागर करने के लिए संजय लोधी राजपूत को मीडिया प्रभारी बनाया गया।

इस सम्मेलन ने सामाजिक समरसता को प्रोत्साहित करने के साथ-साथ युवाओं को अपनी संस्कृति और परंपराओं से जोड़ने का कार्य किया। यह आयोजन सिर्फ समाज के नेतृत्व परिवर्तन का प्रतीक नहीं था, बल्कि यह भी दर्शाता है कि लोधी समाज अपने इतिहास, विरासत और भविष्य को लेकर जागरूक है। समाज में भाईचारा, शिक्षा और आर्थिक उन्नति को बढ़ावा देने के लिए इस प्रकार के सम्मेलन अत्यंत आवश्यक हैं, जो समाज के भीतर नेतृत्व क्षमता को उभारने और नई सोच को जन्म देने में सहायक साबित होते हैं।