दिल्ली की पहली महिला मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने संभाला कार्यभार, एक्शन मोड में आते ही लिए अहम फैसले
दिल्ली : दिल्ली की राजनीति में आज एक नया अध्याय जुड़ गया, जब रेखा गुप्ता (Rekha Gupta) ने राजधानी की मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली। ऐतिहासिक रामलीला मैदान में आयोजित भव्य समारोह में उन्हें दिल्ली के उपराज्यपाल वी.के. सक्सेना ने पद एवं गोपनीयता की शपथ दिलाई। उनके साथ कैबिनेट मंत्रियों प्रवेश वर्मा, आशीष सूद, मनजिंदर सिंह सिरसा, रविंद्र इंद्राज, कपिल मिश्रा और पंकज सिंह ने भी शपथ ग्रहण की।
शपथ के तुरंत बाद एक्शन में आईं रेखा गुप्ता
रेखा गुप्ता ने पदभार संभालते ही अपने इरादे स्पष्ट कर दिए कि उनकी सरकार दिल्ली के विकास को प्राथमिकता देने वाली है। उन्होंने दोपहर तीन बजे दिल्ली सचिवालय पहुंचकर औपचारिक रूप से कार्यभार ग्रहण किया, जिसके बाद वह सीधे एक्शन मोड में आ गईं। उनकी अगुवाई में आज ही दिल्ली कैबिनेट की पहली महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई, जिसमें सरकार की प्राथमिकताओं को लेकर चर्चा की जाएगी।
यमुना बाजार का दौरा, जल संकट और प्रदूषण पर पहली बैठक
रेखा गुप्ता की पहली प्राथमिकता दिल्ली की जनता की मूलभूत समस्याओं को हल करना है। इसी क्रम में, उन्होंने शाम पांच बजे यमुना बाजार स्थित वासुदेव घाट का दौरा करने का निर्णय लिया। यहां वह यमुना नदी की स्वच्छता और बाढ़ से जुड़ी तैयारियों का जायजा लेंगी।
इसके बाद शाम सात बजे दिल्ली सचिवालय में उनकी सरकार की पहली कैबिनेट बैठक होगी। इस बैठक में सभी कैबिनेट मंत्री उपस्थित रहेंगे और सबसे पहले यमुना नदी से संबंधित मुद्दों पर चर्चा करेंगे। संभावना है कि इस बैठक में जल संकट, प्रदूषण नियंत्रण, ट्रैफिक व्यवस्था और महिलाओं की सुरक्षा जैसे महत्वपूर्ण विषयों पर फैसले लिए जाएंगे।
कैबिनेट मंत्रियों के साथ नई सरकार की प्राथमिकताएं
रेखा गुप्ता की नई सरकार के सामने कई महत्वपूर्ण चुनौतियां हैं, जिन्हें हल करने के लिए उनकी कैबिनेट ने पहले ही संकेत दे दिए हैं। उनकी टीम में शामिल प्रवेश वर्मा, आशीष सूद, मनजिंदर सिंह सिरसा, रविंद्र इंद्राज, कपिल मिश्रा और पंकज सिंह को अलग-अलग जिम्मेदारियां सौंपी जा सकती हैं, जिसमें प्रमुख रूप से स्वास्थ्य, शिक्षा, जल प्रबंधन, महिला सुरक्षा, परिवहन और रोजगार जैसे अहम विभाग शामिल होंगे।
दिल्ली की जनता को क्या उम्मीदें?
दिल्ली की जनता ने रेखा गुप्ता को एक मजबूत नेतृत्व के रूप में स्वीकार किया है। उनकी सरकार से उम्मीदें हैं कि वे प्रदूषण, जल संकट, ट्रैफिक जाम, सीसीटीवी सुरक्षा व्यवस्था और सरकारी स्कूलों की स्थिति में सुधार लाएंगी। इसके अलावा, सरकारी अस्पतालों और बिजली-पानी की समस्याओं पर भी तेज़ी से कार्रवाई की जाएगी।
रेखा गुप्ता के मुख्यमंत्री बनने के साथ ही दिल्ली की राजनीति में एक नए दौर की शुरुआत हो गई है। अब देखना यह होगा कि उनकी सरकार किस तरह से अपने वादों को पूरा करती है और दिल्ली को एक नई दिशा में आगे ले जाती है।