केन्‍द्र सरकार ने राज्‍यों और केन्‍द्र शासित प्रदेशों को कोविड जांच बढाने के निर्देश दिए

नई दिल्ली :- केन्‍द्र ने राज्‍यों और केन्‍द्र शासित प्रदेशों को जांच क्षमता का पूरा उपयोग करते हुए कोविड-19 जांच बढ़ाने को कहा है। भारत में इस समय तीन हजार एक सौ 17 जांच प्रयोगशालाएं कार्यरत हैं। देश में प्रतिदिन बीस लाख से अधिक नमूनों की जांच करने की क्षमता है।

केन्‍द्रीय स्‍वास्‍थ्‍य सचिव राजेश भूषण और भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद के महानिदेशक डॉक्‍टर बलराम भार्गव ने सभी राज्‍यों और केन्‍द्र शासित प्रदेशों के मुख्‍य सचिवों को इस बारे में पत्र लिखा है।

24 घंटे कार्य करने वाले रैपिड एंटीजन टेस्‍ट बूथ बनाने के लिए भी कहा गया है। ये बूथ सरकारी और निजी अस्‍पतालों डिस्‍पेंसरी, नर्सिंग होम, क्‍लीनिक, जिला अस्‍पतालों और प्राथमिक स्‍वास्‍थ्‍य केन्‍द्रों में भी रैपिड एंटीजन टेस्‍ट की अनुमति देने को कहा गया है। पत्र के अनुसार रैपिड एंटीजन टेस्‍ट करने के लिए किसी भी स्‍वास्‍थ्‍य केन्‍द्र को मान्‍यता की आवश्‍यकता नहीं होगी।

केन्‍द्र ने सभी जांच केन्‍द्रों पर सुरक्षित दूरी के नियम का पालन करने का भी निर्देश देने को कहा गया है। कोविड रोगियों की बढ़ती संख्‍या को देखते हुए बुखार, खांसी, सिर दर्द, गले में खुश्‍की, सांस लेने में दिक्‍कत, शरीर में दर्द, हाल ही में स्‍वाद, सूंघने की क्षमता में कमी और डायरिया जैसे लक्षणों वाले किसी भी व्‍यक्ति को कोविड का संदिग्‍ध रोगी माना जाना चाहिए।

राज्‍यों और केन्‍द्र शासित प्रदेशों से ऐसे व्‍यक्यिों की प्राथमिकता के आधार पर जांच कराने के लिए कहा गया है।