झांसी में अनोखी विदाई: जब बुलडोजर पर सवार होकर बाराती ने किया जश्न, दूल्हे की अनोखी ख्वाहिश बनी चर्चा का विषय

झांसी:  झांसी में एक अनोखी शादी और उससे भी अनोखी विदाई देखने को मिली, जब दूल्हा-दुल्हन की गाड़ी के पीछे 12 बुलडोजर सड़कों पर चलते नजर आए। बुलडोजर पर नाचते-गाते बाराती इस विदाई को यादगार बना रहे थे। यह नजारा इतना अनूठा था कि राहगीर इसे देखने के लिए रुक गए और अपने मोबाइल में इस खास विदाई को कैद करने लगे। बारात बग्घी, डीजे और कारों के साथ बड़ी धूमधाम से गई थी, लेकिन विदाई के समय बुलडोजर का इस्तेमाल किए जाने से यह पूरे शहर में चर्चा का विषय बन गया।

इस अनोखी विदाई का आयोजन सिजवाह गांव, आजाद नगर निवासी मुन्नीलाल ठेकेदार के परिवार द्वारा किया गया। मुन्नीलाल पांच भाई हैं, और सभी के पास बुलडोजर हैं। जब उनके छोटे बेटे राहुल यादव की शादी खोड़न गांव निवासी आजाद यादव की बेटी करिश्मा से तय हुई, तो परिवार ने बारात की विदाई को खास बनाने के लिए बुलडोजर का अनोखा प्रयोग किया। गुरुवार को बारात शिवपुरी रोड स्थित बिहारी मैरिज गार्डन में गई थी, जहां पूरे रीति-रिवाजों के साथ शादी संपन्न हुई। जब शुक्रवार सुबह विदाई का समय आया, तो सभी लोग हैरान रह गए जब दुल्हन की कार के साथ 12 बुलडोजर गेट पर खड़े नजर आए। जैसे ही बारात निकली, बाराती बुलडोजर पर सवार होकर पूरे रास्ते भर नाचते-गाते रहे, जिससे यह विदाई एक अनूठी और ऐतिहासिक घटना बन गई।

राहुल यादव ने बताया कि उत्तर प्रदेश में बुलडोजर को ‘बाबा का बुलडोजर’ कहा जाता है, जो अवैध निर्माणों पर कार्रवाई के लिए चर्चित है। इसी से प्रेरित होकर उन्होंने सोचा कि अपनी शादी की विदाई को भी बुलडोजर से खास बनाया जाए। परिवार में पहले से ही कई बुलडोजर मौजूद थे, जबकि कुछ उनके जान-पहचान वालों से लाए गए। बारात तो सामान्य तरीके से गई थी, लेकिन जब विदाई के समय यह भव्य नजारा देखने को मिला, तो पूरे शहर में इसकी चर्चा होने लगी।

दूल्हे राहुल यादव पिता के साथ ठेकेदारी करते हैं, जबकि दुल्हन करिश्मा एक शिक्षित ग्रेजुएट हैं और उनके पिता किसान हैं। यह अनूठी विदाई सोशल मीडिया पर भी वायरल हो गई, जिससे यह शादी और खास बन गई। बुलडोजर के जरिए बारात की विदाई का यह अनोखा अंदाज निश्चित रूप से झांसी में लंबे समय तक याद किया जाएगा।