ट्रंप सरकार में नई नियुक्ति: अरबपति डेविड सैक्स होंगे एआई और क्रिप्टो के प्रमुख

वॉशिंगटन :  पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति और 2024 के संभावित रिपब्लिकन उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप ने अपने प्रशासन में एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए मशहूर उद्योगपति और टेक इन्वेस्टर डेविड सैक्स को कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) और क्रिप्टो करेंसी से जुड़ी नीतियों का प्रभारी नियुक्त किया है। डेविड सैक्स, जो टेक्नोलॉजी और इनोवेशन में गहरी समझ रखते हैं, अब “एआई और क्रिप्टो जार” के रूप में व्हाइट हाउस में ट्रंप प्रशासन को इन क्षेत्रों में सलाह देंगे।

सोशल मीडिया पर ट्रंप की घोषणा

ट्रंप ने इस नियुक्ति की घोषणा सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर की। उन्होंने लिखा,

“डेविड ऑनलाइन फ्री स्पीच की रक्षा करेंगे और हमें बड़ी तकनीकी कंपनियों और उनकी सेंसरशिप से बचाएंगे।”

इस संदेश ने स्पष्ट कर दिया कि ट्रंप और उनके प्रशासन का फोकस न केवल कृत्रिम बुद्धिमत्ता और क्रिप्टो तकनीक को बढ़ावा देना है, बल्कि इसे अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता और छोटे उद्यमियों के लिए एक सशक्त मंच बनाने पर भी रहेगा।

डेविड सैक्स का अनुभव और भूमिका

डेविड सैक्स, जिन्हें सिलिकॉन वैली का एक प्रभावशाली चेहरा माना जाता है, पेपल के शुरुआती सह-संस्थापकों में से एक हैं और वेंचर कैपिटलिस्ट के रूप में भी उनका नाम है। टेक्नोलॉजी और वित्तीय नवाचारों में उनके योगदान ने उन्हें इस क्षेत्र में एक अग्रणी विशेषज्ञ बना दिया है।

एआई और क्रिप्टो में सैक्स की प्राथमिकताएं होंगी:

  1. एआई नीति का निर्माण: सैक्स इस बात पर ध्यान देंगे कि एआई का उपयोग कैसे नैतिक, पारदर्शी और निष्पक्ष तरीके से हो, ताकि यह नवाचार को बढ़ावा दे और सामाजिक समस्याओं का समाधान प्रदान करे।
  2. क्रिप्टो करेंसी का नियमन: क्रिप्टो बाजार की बढ़ती संभावनाओं को देखते हुए, वह इसे सरकार और बाजार के बीच सामंजस्यपूर्ण बनाने के लिए कदम उठाएंगे।
  3. फ्री स्पीच और सेंसरशिप: बड़े तकनीकी प्लेटफॉर्म द्वारा कंटेंट मॉडरेशन और सेंसरशिप के खिलाफ सख्त नीति तैयार करना उनकी प्राथमिकताओं में शामिल होगा।

तकनीकी दिग्गजों पर ट्रंप की चिंता

डोनाल्ड ट्रंप लंबे समय से बड़ी तकनीकी कंपनियों पर सेंसरशिप और राजनीतिक पूर्वाग्रह का आरोप लगाते रहे हैं। सैक्स की नियुक्ति इस दिशा में ट्रंप की नई रणनीति का हिस्सा है। उनका मानना है कि बड़ी टेक कंपनियों की “मनमानी” पर अंकुश लगाकर डिजिटल स्वतंत्रता सुनिश्चित की जा सकती है।

राजनीतिक प्रतिक्रिया

सैक्स की नियुक्ति पर मिश्रित प्रतिक्रियाएं आई हैं। ट्रंप समर्थकों ने इसे एक दूरदर्शी कदम बताया है, जो तकनीकी नवाचार को बढ़ावा देगा और बड़ी टेक कंपनियों के “एकाधिकार” को चुनौती देगा। दूसरी ओर, उनके आलोचकों का कहना है कि यह कदम ट्रंप की तकनीकी क्षेत्रों में अपनी पकड़ मजबूत करने की कोशिश का हिस्सा है।

भविष्य की दिशा

डेविड सैक्स की नियुक्ति से यह साफ है कि ट्रंप प्रशासन एआई और क्रिप्टो जैसे उभरते क्षेत्रों में अमेरिका को अग्रणी बनाना चाहता है। यह देखना दिलचस्प होगा कि सैक्स इस भूमिका में कैसे तकनीकी स्वतंत्रता और आर्थिक नवाचार को संतुलित करते हैं।

ट्रंप के इस कदम ने 2024 के चुनावी माहौल में भी एक नई दिशा जोड़ दी है, जहां टेक नीति प्रमुख मुद्दा बन सकता है।